देवरिया 30 अप्रैल। जिलाधिकारी जेपी सिंह के निर्देश पर जिला समाज कल्याण अधिकारी जैसवार लाल बहादुर ने बताया है कि उ०प्र०, सरकार द्वारा अनुसूचित जातियों के आर्थिक उत्थान हेतु उ०प्र०अनु० जाति वित्त एवं विकास निगम लि0 द्वारा अनुसूचित जाति के व्यक्तियों /परिवार जिनकी ग्रामीण क्षेत्र में वार्षिक आय रू0 46080 एवं नगरीय क्षेत्र में वार्षिक आय रू० 56460 से कम है, उन्हें आत्मनिर्भर बनाने हेतु योजनायें संचालित है। सभी योजनाओं में आधार कार्ड, पहचान पत्र, दो फोटो तथा तहसील स्तर से प्राप्त आय, जाति व निवास प्रमाण पत्र आदि संलग्न करना आवश्यक है।
जिला समाज कल्याण अधिकारी ने निगम द्वारा संचालित योजनाओं के विवरण में बताया है कि पं० दीनदयाल उपाध्याय स्वरोजगार योजना (स्वतः रोजगार योजना) के अन्तर्गत अनुसूचित जाति के पात्र व्यक्तियों का उद्योग/व्यवसाय संचालित करने हेतु राष्ट्रीकृत बैंको के माध्यम से रू० 20000 से लेकर रू0 1500000 तक की योजनायें स्वीकृत करायी जाती है, जिसमें रू0 10000 का अनुदान व रू0 50000 से अधिक की योजनाओं में योजना लागत का 25 प्रतिशत भाग के 4 प्रतिशत वार्षिक ब्याज दर पर मार्जिन मनी ऋण के रूप में दिया जाता है। नगरीय क्षेत्र दुकान निर्माण योजना के अन्तर्गत ऐसे अनुसूचित जाति के पात्र परिवार जिनके पास 13.32 वर्गमीटर व्यवसायिक स्थल पर भूमि उपलब्ध है उन्हें स्वयं द्वारा दुकान निर्माण कराने हेतु दो किस्तों में (58500+19500) कुल रू० 78000 उनके खाते में भुगतान कर दुकान का निर्माण कराया जाता है, जिसमें रू0 10000 अनुदान एवं रू० 68000 बिना ब्याज का ऋण होता है। जिसकी अदायगी 120 मासिक किस्तों में करनी होती है। इसमें तहसील द्वारा निर्गत आय, जाति निवास प्रमाण पत्र, आधार कार्ड तथा भूमि का प्रपत्र एवं तहसील द्वारा प्राप्त जमीन का नजरी नक्शा आवेदन पत्र के साथ संलग्न करना आवश्यक है।
अनुसूचित जाति के आर्थिक उत्थान हेतु विभाग द्वारा लाण्ड्री एवं ड्राईक्लीनिंग योजना संचालित है, जिसने धोबी जाति को वरीयता दी जायेगी। इस योजना की कुल लागत रू0 2.16 लाख तथा एक लाख निर्धारित है, जिसमें रु0 10000/ -अनुदान तथा शेष धनराशि ब्याजमुक्त ऋण के रूप में है, जिसकी अदायगी पाँच वर्षों में समान मासिक (60) किश्तों में की जाती है। ऋण की अदायगी के क्रम में आवेदक से एक सरकारी सेवक की गारन्टी भी ली जाती है। अनुसूचित जाति के युवक/युवतियों के आर्थिक उत्थान हेतु विभाग द्वारा सिलाई/टेलरिंग योजना संचालित है, जिसकी योजना लागत रू0 20000 है जिसमें रू0 10000 अनुदान एवं रू० 10000 बिना ब्याज का ऋण होता है।
उक्त समस्त योजनाओं में लाभ प्राप्त करने हेतु ग्रामीण क्षेत्र के पात्र व्यक्ति अपने विकास खण्ड में कार्यरत ग्राम विकास अधिकारी / सहायक विकास अधिकारी (सं०क0) अथवा खण्ड विकास अधिकारी से एवं नगरीय क्षेत्र के पात्र व्यक्ति विकास भवन देवरिया में स्थापित कार्यालय जिला समाज कल्याण अधिकारी (विकास) / पदेन जिला प्रबन्धक, उ०प्र0 अनुसूचित जाति वित्त एवं विकास निगम लिए देवरिया के कार्यालय में सहायक प्रबन्धक अथण किसी कार्यालय सहायक से जानकारी प्राप्त कर उक्त योजनाओं में लाभान्वित होने के क्रम में 31 मई तक आवेदन कर सकते हैं।
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